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आज  से बदल गया बैंकों का समय, जानिए क्या है नई टाइमिंग, मार्केट ट्रेंडिंग में क्या हुए बदलाव?

बैंक ग्राहकों के लिए बड़ी खबर है. अब आपको बैंक से जुड़े कामकाज निपटाने के लिए 1 घंटे एक्स्ट्रा समय मिलेगा. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने 18 अप्रैल 2022 से बाजार के कारोबारी समय (RBI Increase Market trading hours) से लेकर बैंकों के खुलने (Bank opening timing) के समय में बदलाव कर दिया है. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI Change bank timing) ने 4 दिन बैंक बंद रहने के बाद सोमवार (18 अप्रैल 2022) से बैंकों के खुलने के समय में बदलाव कर दिया गया है. 

अब 9 बजे खुलेंगे सभी बैंक

सोमवार से बैंक सुबह 9 बजे ही खुल जाएंगे. इससे ग्राहकों को अपना काम कराने के लिए एक घंटा अतिरिक्त समय मिलेगा. हालांकि, बैंकों के बंद होने के समय में कोई बदलाव नहीं किया गया है. मतलब बैंक पहले के टाइम से ही बंद होंगे. बता दें, कोरोना वायरस महामारी (Covid-19 cases) के चलते बैंकों के दिन में खुलने के समय को घटा दिया गया था. लेकिन, इसे अब फिर से सामान्य कर दिया गया है. देश में भारतीय स्टेट बैंक (SBI) समेत 7 सरकारी बैंक हैं. इनके अलावा देश में 20 से ज्यादा प्राइवेट बैंक हैं. इन सभी बैंकों पर नया नियम लागू होगा.

बाजारों में ट्रेडिंग का समय भी बदला

RBI ने बैंकों के साथ-साथ विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार और सरकारी प्रतिभूतियों में लेनदेन अब बदले हुए समय के साथ ही हो पाएगा. 18 अप्रैल 2022 से, विदेशी मुद्रा डेरिवेटिव्स, रुपया ब्याज दर डेरिवेटिव्स, कॉरपोरेट बॉन्ड्स में रेपो सहित विदेशी मुद्रा (FCY)/ भारतीय रुपया (INR) ट्रेड्स जैसे RBI विनियमित बाजारों में ट्रेडिंग अपने पूर्व-कोविड समय यानी सुबह 10 बजे के बजाय 9:00 बजे सुबह से शुरू होंगे.

कार्ड लेस ATM से ट्रांजैक्शन की सुविधा जल्द

RBI ने बैंक ग्राहकों के लिए ATM से जुड़ा एक नया ऐलान भी किया है. बैंकों में अब कार्ड लेस ATM से ट्रांजैक्शन की सुविधा देने की तैयारी चल रही है. ग्राहक UPI के जरिए बैंकों और ATM से पैसे निकाल सकेंगे. RBI कार्डलेस यानी बिना कार्ड के इस्तेमाल वाले ट्रांजैक्शन को बढ़ाने के लिए ऐसा करने जा रहा है।. ऐसा करने के लिए UPI के जरिए सभी बैंकों और उनके ATMs से पैसे निकासी की सुविधा दी जाएगी.

ATM से जुड़े फ्रॉड में आएगी कमी

RBI का मानना है कि कार्डलेस ट्रांजैक्शन का फायदा ये है कि इससे ATM से जुड़े फ्रॉड में कमी आएगी. साथ ही कार्डलेस ट्रांजैक्शन से लेनदेन में आसानी होगी और कार्ड क्लोनिंग की शिकायतों में कमी आएगी. कार्ड की चोरी होने पर भी दूसरे कई तरह के फ्रॉड रोकने में भी मदद मिल सकती है.