नई दिल्ली। लद्दाख में भारत और चीन के बीच जारी सीमा विवाद समझौते के बाद भी सुलझता नहीं दिख रहा है। चीन एक बार फिर धोखेबाजी पर उतर आया है और उसने पैंगोंग लेक से सहमति के बावजूद अपने सैनिक पीछे नहीं हटाए हैं।
सरकारी जानकारी के अनुसार, सैन्य कमांडरों के बीच हुई चौथे दौर की वार्ता के बाद भी पैंगोंग लेक इलाके में चीनी सेनाओं को देखा जा रहा है और अभी भी टकराव की स्थिति बनी हुई है।
अभी भी मौजूद हैं चीनी सैनिक
चीनी सैनिक अभी भी फिंगर-5 इलाके में मौजूद है और इस दौरान बीते छह दिनों में उनके पीछे हटने के कोई संकेत नहीं मिल रहे हैं। बताया जा रहा है कि पैंगोंग इलाके में कंडीशन पहले की तरह ही है। बातचीत के बाद चीनी सेना फिंगर-4 इलाके से पीछे जरूर हटी, लेकिन फिंगर-5 से लेकर फिंगर-8 तक अभी भी चीनी सैनिक डटे हुए हैं।
पैंगोंग लेक से पीछे हटने को सहमत हुई थी दोनों सेनाएं
14 जुलाई को सैन्य कमांडरों की मैराथन बैठक में पैंगोंग इलाके से पीछे हटने को लेकर बात हुई थी और दोनों सेनाओं ने टकराव कम करने और पीछे हटने पर सहमति जताई थी। लेकिन अब मिली जानकारी के बाद पैंगोंग इलाके पर चीन की तरफ से सहमती जैसी कोई बात देखने को नहीं मिल रही है।
डेपसांग में बढ़ी चीनी सैनिकों की तैनाती
सरकारी सूत्रों ने कहा कि सिर्फ चार इलाकों से नहीं बल्कि पूरा फिंगर इलाके से चीनी सैनिकों का पीछे हटना बेहद अहम है। सिर्फ यही नहीं, डेपसांग में भी चीनी बलों की अधिक संख्या में तैनाती टेंशन बढ़ा रही है। लेकिन सुरक्षाबलों की टेंशन फिंगर इलाके को लेकर है जिसके लिए अगले कुछ दिनों में सैन्य या कूटनीतिक स्तर पर कुछ और बैठक होने की संभावना है।
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